New Delhi: PM स्ट्रीट वेंडर आत्मनिर्भर निधि (PM SVANidhi) स्कीम केंद्र सरकार का एक प्रोग्राम है जिसे पूरे भारत में स्ट्रीट वेंडर्स को सपोर्ट करने के लिए बनाया गया है। यह वेंडर्स को आसान और सस्ते लोन देकर उनके छोटे बिज़नेस को फिर से शुरू करने और बढ़ाने में मदद करता है। यह स्कीम रोज़ी-रोटी को मज़बूत करने, आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने और स्ट्रीट वेंडर्स को फॉर्मल फाइनेंशियल सिस्टम में लाने के लिए शुरू की गई थी।ज़्यादा पहुँच और ज़्यादा बेनिफिशियरी एक ऑफिशियल बयान के मुताबिक, रीस्ट्रक्चर्ड PM SVANidhi स्कीम का मकसद अब 1.15 करोड़ स्ट्रीट वेंडर्स को फायदा पहुँचाना है, जिसमें 50 लाख नए बेनिफिशियरी शामिल हैं। इस विस्तार से कई और वेंडर्स को पहली बार फॉर्मल क्रेडिट मिल सकेगा। इस स्कीम का लोन पीरियड 31 मार्च, 2030 तक बढ़ा दिया गया है, जिससे वेंडर्स को लोन लेने और अपने बिज़नेस को बढ़ाने के लिए ज़्यादा समय मिल जाएगा। इस स्कीम के लिए कुल सरकारी खर्च 7,332 करोड़ रुपये है।कैबिनेट की मंज़ूरी और ज़रूरी बदलाव 27 अगस्त, 2025 को, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय कैबिनेट ने PM SVANidhi स्कीम के रीस्ट्रक्चरिंग और इसे 31 दिसंबर, 2024 से आगे बढ़ाने को मंज़ूरी दी। एक बड़ा बदलाव लोन की रकम में बढ़ोतरी है। बदले हुए स्ट्रक्चर के तहत: – पहला लोन 10,000 रुपये से बढ़ाकर 15,000 रुपये कर दिया गया है – दूसरा लोन 20,000 रुपये से बढ़ाकर 25,000 रुपये कर दिया गया है – तीसरा लोन 50,000 रुपये पर ही रहेगाडि जिटल क्रेडिट और कैशबैक के फ़ायदे एक ज़रूरी नया फ़ीचर UPI-लिंक्ड RuPay क्रेडिट कार्ड की शुरुआत है। यह कार्ड उन वेंडर्स को दिया जाएगा जो अपना दूसरा लोन समय पर चुकाते हैं। इससे उन्हें ज़रूरी बिज़नेस या पर्सनल ज़रूरतों के लिए तुरंत क्रेडिट पाने में मदद मिलेगी। डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देने के लिए, वेंडर्स कैशबैक इंसेंटिव भी कमा सकते हैं। वे रेगुलर डिजिटल सेल्स पर हर साल 1,200 रुपये तक और डिजिटल होलसेल खरीदारी पर 400 रुपये तक कमा सकते हैं।
2025-12-21











