क्या अमेरिका के हाथ में है पाकिस्तान का न्यूक्लियर बटन? ऑपरेशन सिंदूर के बाद बड़ा खुलासा

पाकिस्तान न्यूक्लियर बटन अमेरिका के नियंत्रण में होने का दावा अमेरिका के एक पूर्व खुफिया अधिकारी ने कर सबको चौंका दिया है। एलन मस्क की पार्टी से लेकर ऑपरेशन सिंदूर तक की चर्चाओं के बीच यह मुद्दा अब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गंभीर बहस का विषय बन गया है।

पूर्व CIA अधिकारी जॉन किरियाको ने दावा किया है कि पाकिस्तान के पास मौजूद परमाणु हथियारों की कमांड और कंट्रोल अमेरिकी जनरल के पास है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सरकार ने यह नियंत्रण स्वेच्छा से अमेरिका को सौंपा था। इस बयान के बाद पाकिस्तान की संप्रभुता पर भी सवाल उठने लगे हैं।

किरियाको वही अधिकारी हैं जिन्होंने 9/11 के बाद अमेरिका की पूछताछ तकनीकों, जैसे वाटरबोर्डिंग, पर खुलासे किए थे। अब उन्होंने दावा किया है कि पाकिस्तान का नूर खान एयरबेस — जो कि स्ट्रैटेजिक प्लांस डिविजन के बेहद करीब है — अमेरिका के नियंत्रण में है। इस एयरबेस पर वरिष्ठ पाकिस्तानी कमांडरों को भी सीमित पहुंच प्राप्त है।

ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत द्वारा इस एयरबेस को निशाना बनाया गया था, जिसकी पुष्टि सैटेलाइट इमेज से भी हुई थी। इसी दौरान पाकिस्तान ने तत्काल अमेरिका से मदद मांगी और भारत के DGMO से बात कर ऑपरेशन रोकने की गुहार लगाई।

इससे पहले 2011 में भी NBC की रिपोर्ट में “Snatch and Grab” नामक अमेरिकी योजना का ज़िक्र हुआ था, जिसमें कहा गया था कि संकट की स्थिति में अमेरिका पाकिस्तानी परमाणु हथियारों को अपने नियंत्रण में ले सकता है।

विशेषज्ञों के अनुसार, पाकिस्तान की कमजोर आंतरिक स्थिति और बढ़ती चरमपंथी गतिविधियों के चलते अमेरिका का यह नियंत्रण सुरक्षा के लिहाज से जरूरी माना गया है।

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