आदिवासी किशोरी से सामूहिक दुष्कर्म छत्तीसगढ़ की कानून व्यवस्था का आइना है, भूपेश बघेल देख लें – भाजपा

रायपुर। भारतीय जनता पार्टी महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष शालिनी राजपूत ने जशपुर जिले के बगीचा इलाके में एक बेहद गरीब आदिवासी बच्ची को अगवा कर सामूहिक दुष्कर्म किये जाने की घटना पर आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा है कि बात- बात पर कानून के राज का ढ़ोल पीटने वाली कांग्रेस की सरकार में कानून व्यवस्था किस तरह दम तोड़ चुकी है, यह घटना इसका आइना है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल इस आइने में अपने राज की असल तस्वीर देख लें। यूपी में किसी भी घटना पर राजनीतिक नौटंकी करते हुए एक्सपोज होने वाली अपनी बहिनजी को भी दिखा दें और यूपी चुनाव में जहां जहां भी छत्तीसगढ़ का पैसा उड़ाने जा रहे हैं, वहां वहां अपना यह मॉडल भी दिखाएं कि कांग्रेस के राज में रायपुर से लेकर जशपुर तक राज्य की बेटियां और बहनें सुरक्षित नहीं हैं।

 

भाजपा महिला मोर्चा अध्यक्ष शालिनी राजपूत ने कहा कि गरीब आदिवासी और दलित बेटियों की इज्जत की कांग्रेस के जंगल राज में कोई कीमत नहीं है। उन्होंने कहा कि बाहरी राज्य की किसी घटना पर छत्तीसगढ़ में धरने पर बैठने वाले मंत्री तथा कांग्रेसी नेता आदिवासी बच्ची को शादी समारोह से अगवा कर सामूहिक दुष्कर्म की जघन्य वारदात पर मुख्यमंत्री निवास पर धरना दें।

 

महिला मोर्चा अध्यक्ष शालिनी राजपूत ने कहा कि छत्तीसगढ़ कांग्रेस के राज में अपराध का गढ़ बन गया है और कांग्रेसी भाई लज्जित होने की बजाय कहते हैं कि कांग्रेस की सरकार में अपराध विशेषकर महिलाओं के प्रति अपराध में कमी आई है। अगर कमी आई है तो हर रोज बहिन बेटियों से बलात्कार और सामूहिक बलात्कार की घटनाएं क्यों सामने आ रही हैं। कांग्रेस यह कह दे कि बलात्कार की वारदातें नहीं हो रहीं, जो मामले सामने आ रहे हैं वे सब के सब झूठे हैं। कांग्रेस तो छत्तीसगढ़ में तीन साल में 25 हजार आदिवासी बच्चों की मौत के उसकी ही सरकार के आंकड़ों को झूठा करार दे देती है तब आदिवासी बेटियों से दुराचार पर उसे शर्म कैसे आ सकती है। कांग्रेस की सरकार में अपराधी मानसिकता पर कहीं कोई नियंत्रण नहीं है। आदिवासी, दलित बेटियों का उत्पीड़न हो रहा है और कांग्रेस के लोग सिर्फ वसूलीबाजी में व्यस्त हैं। छत्तीसगढ़ में महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं। जिस सरकार में महिला उत्पीड़न का बोलबाला हो, उसे सत्ता में बने रहने का कोई अधिकार नहीं है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को यह स्वीकार करते हुए नैतिकता के आधार पर इस्तीफा दे देना चाहिए कि वे महिलाओं को सुरक्षा देने में सौ फीसदी नाकाम रहे हैं।

Share this news:

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *